– साजिद अली, विशेष रिपोर्ट / NGO Darpan
आगरा के नए सिविल एन्क्लेव प्रोजेक्ट में निर्माण का अहम चरण अब पूरी रफ़्तार में है। टर्मिनल बिल्डिंग के बाद अब नाला निर्माण, वैकल्पिक सड़क और पेड़ों के रिलोकेशन जैसे संवेदनशील कार्यों पर गंभीरता के साथ आगे बढ़ा जा रहा है।अगर प्रशासन और नौकरशाही के बीच बेहतर तालमेल बना रहा, तो यह प्रोजेक्ट 2026 तक फंक्शनल होने की संभावना रखता है।
फेस-1 कार्य: 40% पूरा, बाकी तय समय में होने का भरोसा
ग्राम सभा धनौली में चल रहे फेस-1 कार्यों—पिलर, फाउंडेशन, बाउंड्री वॉल आदि—का लगभग 40% निर्माण पूरा हो चुका है।जीएम (अभि.) और प्रोजेक्ट प्रभारी अनूप चंद्रा श्रीवास्तव के अनुसार मुख्यालय से भी रिमोट सेंसिंग के माध्यम से निर्माण कार्यों की निरंतर मॉनिटरिंग की जा रही है।
286 पेड़ों का सफल रिलोकेशन
फेस-1 के तहत 286 पेड़ों को सामाजिक वानिकी विभाग की सहायता से स्थानांतरित किया गया है। इसकी रिपोर्ट शासन को भेज दी गई है, जिसे आगे सुप्रीम कोर्ट में प्रस्तुत किया जाएगा।खेरिया–मलपुरा रोड बनेगी मॉडल रोड
खेरिया मोड़ से न्यू सिविल एन्क्लेव तक जाने वाला मार्ग भविष्य में मॉडल रोड के रूप में विकसित किया जाएगा।
PWD के अनुसार—
- रोड का उन्नयन
- बिजली पोल शिफ्टिंग
- अवैध अतिक्रमण हटाना
इन सभी कार्यों के लिए तीन महीने का समय तय किया गया है।
वैकल्पिक मार्ग निर्माण पर तेजी
सिविल एन्क्लेव की जमीन के बीच से गुजरने वाली मौजूदा सड़क बाउंड्री वॉल पूरी होते ही बंद करनी होगी।इसलिए वैकल्पिक मार्ग प्रस्तावित है और धनराशि भी अवमुक्त हो चुकी है।
DM अरविंद मल्लप्पा बंगारी का निर्देश है कि जब तक नई सड़क तैयार नहीं हो जाती, पुराना मार्ग चालू रखा जाए।
नया मार्ग अगले छह महीनों में बनने की योजना है।
कनेक्टिंग नाला: बारिश में रुकावट से छुटकारा
सिविल एन्क्लेव के गंदे पानी के निस्तारण के लिए एक नए नाले का निर्माण अनिवार्य है, जो खेरिया मोड़ से मलपुरा तक बने बड़े नाले से जुड़ेगा।
वर्तमान में जलनिकासी न होना मानसून में निर्माण को प्रभावित करता है, साथ ही धनौली–मलपुरा क्षेत्र में जलभराव भी एक पुरानी समस्या है।
जलापूर्ति समाधान: जल निगम सक्रिय
एन्क्लेव की जल आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए यूपी जल निगम जल स्रोतों की तलाश और कार्य योजना पर काम कर रहा है।
इस पर आने वाला पूरा व्यय एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया वहन करेगी।
सुरक्षा व स्टाफ के लिए 5 एकड़ जमीन की मांग
एयरपोर्ट अथॉरिटी ने सुरक्षा कर्मियों और AAI कर्मचारियों के लिए आवासीय परिसर हेतु 5 एकड़ भूमि उपलब्ध कराने का अनुरोध किया है।
यह परिसर सिविल एन्क्लेव के मूलभूत बुनियादी ढांचे का हिस्सा माना जाएगा।
दूसरे चरण की राह फ़ेस-1 पूरा होने पर साफ़
पहले चरण की अनुमति सशर्त है। निर्देशों का पालन पूरा होते ही दूसरे चरण का मार्ग प्रशस्त हो जाएगा।
NEERI जांच को अनावश्यक बताया गया
सिविल सोसायटी ऑफ आगरा के सचिव अनिल शर्मा के अनुसार—चूंकि एन्क्लेव परिसर का हिस्सा एयर फ़ोर्स स्टेशन की निगरानी सीमा में आता है, इसलिए NEERI से कोई जांच करवाने के लिए रक्षा मंत्रालय की अनुमति जरूरी होगी, जो बेहद कठिन प्रक्रिया है।
उनका सुझाव है कि वायुसेना के पास मौजूद प्रदूषण संबंधी डेटा का उपयोग किया जाए।
साथ ही उन्होंने NEERI द्वारा TTZ क्षेत्र में अब तक किए गए सर्वे से खास सुधार न दिखने का भी हवाला दिया है।
TTZ अथॉरिटी से राहत और त्वरित कार्रवाई की अपेक्षा
सिविल सोसायटी ने ताज ट्रिपेजियम जोन प्राधिकरण से अनुरोध किया है कि बैठक बुलाकर सिविल एन्क्लेव से जुड़े अनुमोदन शीघ्रता से पूरे किए जाएँ और यदि कोई कमी हो तो उसका समाधान सुझाया जाए।प्रतिनिधि मंडल
इस समीक्षा बैठक में—
- अनिल शर्मा (सेक्रेटरी)
- राजीव सक्सेना
- असलम सलीमी
शामिल रहे।
(फोटो: आभार – असलम सलीमी)
रिपोर्टर
साजिद अली
विशेष संवाददाता, NGO Darpan
मो.: 8010884848
वेबसाइट: www.ngodarpangov.org.in
ईमेल: ngodarpanbharat@gmail.com
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